द्विस्थानीय A type of actual fruition of Karmic matters. अनुभाग बंध अप्रशस्त प्रकृतियों की अपेक्षा लता दारू रूप अथवा नीमकांजीर रूप तथा प्रशस्त प्रकृतियों की अपेक्षा गुड़ खाण्ड रूप बंध।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]