आचार्य श्री शान्तिसागर – बीसवीं सदी के प्रथम दिगंबर जैनाचार्य हुए हैं । दक्षिण भारत में जन्म लेकर इन्होंने मुनि परंपरा का जीर्णोद्धार किया तथा सन् १९५५ में समाधि लेकर एक कीर्तिमान स्थापित किया है ।
गणिनी श्री ज्ञानमती माताजी ने इनके तीन बार दर्शन करके अपने जीवन को सफल किया है ।