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युग प्रवर्तक महावीर!
June 17, 2020
भजन
jambudweep
युग प्रवर्तक महावीर
‘
घर घर में महावीर की जय होना चाहिए।।टेक.।।
कुण्डलपुरी में स्वर्गों से अवतार जब लिया।
छहमास पूर्व रत्नों से भू जगमगा दिया।।
सिद्धार्थपितु मां त्रिशला की जय होना चाहिए।।घर…..।।
श्री वीर बालपन में भी अतिशय दिखा दिया।
जनता को मुग्ध करके अद्भुत कार्य कर लिया।।
जिनकी महिमा अपरंपार प्रभु गुण गाना चाहिए।।घर……।।
यौवन में विषय वासतज वैराग्य धरि लिया।
निज ध्यान बल पर पूर्ण ज्ञान प्राप्त कर लिया।।
ऐसे दिगम्बर सन्मति की जय होना चाहिए।।घर…….।।
जब सत्य अहिंसा का प्रभु नारा लगा लिया।
नर दीन हीन मूक पशु का दुख मिटा दिया।।
श्री वर्धमान जिन वीरपथ पर चलना चाहिए।।घर…….।।
पावापुरी के मध्य सरोवर कहे न्यारे।
उस ही जगह से वीर प्रभु निर्वाण पधारे।।
कह ‘‘अभयमती’’ अतिवीर की जय होना चाहिए।।घर…….।।
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