जंबूद्वीप में ३११ पर्वत हैं,उनके आजू-बाजू या चारों तरफ मणिमयी वेदियां हैं और वनखंड हैं। नब्बे कुंड प्रमुख हैं-गंगादि १४ नदियां जहां गिरती हैं वहाँ के १४, विभंगा नदियों की उत्पत्ति के १२, विदेह की गंगादि-रक्तादि ६४ नदियों की उत्पत्ति के ६४ ऐसे १४ + १२ + ६४ =९० कुंड हैं। इनके चारों तरफ उतनी ही वेदी और वनखंड हैं। २६ सरोवर हैं-कुलाचल के ६ + सीता-सीतोदा के २०·२६। इनके चारों तरफ ही वनखंड हैं। जितनी नदियां हैं उनके दोनों पाश्र्व भागों में अर्थात् १७९२०९०²२ = ३५८४१८० मणिमयी वेदिका हैं और उतने ही वनखंड हैं। इन वेदियों की ऊँचाई आधा योजन और विस्तार पाँच सौ धनुष प्रमाण है। सर्वत्र वनखंड आधा योजन चौड़े हैं।