नाम एवं पता | श्री क्षेत्र अरिहन्तगिरि दिगम्बर जैन मन्दिर, तिरूमलै तहसील – पोलूर, जिला तिरूवण्णामलै (तमिलनाडु) पिन – 606907 |
टेलीफोन | 04181 244325, 97918 38809, 097867 13349, 093821 32278 email-asaetrust@gmail.com |
क्षेत्र पर उपलब्ध सुविधाएँ | आवास : कमरे ( अटैच बाथरूम) – 10, कमरे (बिना बाथरूम) – 5 हाल- 3 ( यात्री क्षमता – 160), गेस्ट हाऊस – 2 यात्री ठहराने की कुल क्षमता- 250.
भोजनशाला : है, विद्यालय : है, औषधालय : है, पुस्तकालय : है |
आवागमन के साधन | रेल्वे स्टेशन : काटपाड़ी 55 कि.मी., चेन्नई – 155 कि.मी.
बस स्टेण्ड पहुँचने का सरलतम मार्ग : पोलूर 14.कि.मी., आरणी 24 कि.मी. पोलूर – आरणी मार्ग के मध्य वड़मादि मंगलम् कास से तिरुमलै 6 कि.मी. बस, टेक्सी, रिक्शा से पहुँच सकते हैं। |
निकटतम प्रमुख नगर | वेलूर – 50 कि.मी., पाण्डिचेरी-100 कि.मी., तिरूपति- 160 कि.मी., चेन्नई – 155 कि.मी. |
प्रबन्ध व्यवस्था | संस्था : श्री क्षेत्र अरहन्तगिरि दि. जैन मैनेजमेन्ट ट्रस्ट
अध्यक्ष : स्वस्ति श्री धवलकीर्ति भट्टारक स्वामीजी मंत्री : श्री राजेन्द्र जैन (मजि.), एम.एल.ए. (04181-222104) प्रमुख ट्रस्टी : श्री एम. के. जैन, चैन्नई |
क्षेत्र का महत्व | क्षेत्र पर मन्दिरों की संख्या : है । 140 सीढ़ियाँ हैं एवं 335 मीटर उंचा है
क्षेत्र पर पहाड़ : 04 ऐतिहासिकता : तिरुमलै को अर्हत्सुगिरि (अरहन्तों का पर्वत) कहते हैं। पर्वत पर शिखा मणिनाथ के नाम से प्रसिद्ध श्री नेमिनाथ भगवान की 18 फुट ऊँची प्रतिमा है। इस मूर्ति का अभिषेक लेकर गंधोदक लेने से अनेक रोग नष्ट हो जाते हैं, ऐसी मान्यता है। अंतिम श्रुतकेवली भद्रबाहु के साथ 8000 मुनियों ने यहाँ तप, ध्यान, स्वाध्याय आदि किया था। यहाँ अति प्राचीन मुनि विहार गुफाएँ भी हैं तथा लगभग 100 ताड़पत्र के ग्रंथ हैं। |
समीपवर्ती तीर्थक्षेत्र | पोन्नूरमलै – 43 कि.मी., मेलचित्तामूर – 72 कि.मी., कांचीपुरम् 60 कि.मी., वल्लिमलै – 80 कि.मी. |