Jambudweep - 7599289809
encyclopediaofjainism@gmail.com
About Us
Facebook
YouTube
Encyclopedia of Jainism
Search
विशेष आलेख
पूजायें
जैन तीर्थ
अयोध्या
जैन ज्योतिर्लोक
January 11, 2025
Books Final
Rahul
2. तीनलोक की ऊँचाई का प्रमाण
३. मध्यलोक का वर्णन
४. जम्बूद्वीप का वर्णन
५. जम्बूद्वीप के भरत आदि क्षेत्रों एवं पर्वतों का प्रमाण
६. जम्बूद्वीप का स्पष्टीकरण (चार्ट नं.-१)
७. विजयार्ध पर्वत का वर्णन
८. हिमवान पर्वत का वर्णन
९. गंगा आदि नदियों के निकलने का क्रम
१०. पद्म आदि सरोवर एवं देवियाँ (चार्ट नं.-२)
११. गंगा नदी का वर्णन
१२. गंगा देवी के श्रीगृह का वर्णन
१३. ज्योतिर्लोक का वर्णन
१४. ज्योतिष्क देवों की पृथ्वीतल से ऊँचाई का क्रम
१५. ज्योतिष्क देवों की पृथ्वीतल से ऊँचाई (चार्ट नं.-३)
१६. सूर्य, चन्द्र आदि के विमानों का प्रमाण
१७. ज्योतिष्क देवों के बिम्बों का प्रमाण (चार्ट नं.-४)
१८. ज्योतिष्क विमानों की किरणों का प्रमाण
१९. वाहन जाति के देव
२०. शीत एवं उष्ण किरणों का कारण
२१. सूर्य, चन्द्र के विमानों में स्थित जिनमंदिर का वर्णन
२२. चन्द्र के भवनों का वर्णन
२३. इन देवों की आयु का प्रमाण
२४. सूर्य के बिम्ब का वर्णन
२५. बुध आदि ग्रहों का वर्णन
२६. सूर्य का गमन क्षेत्र
२७. दोनों सूर्यों का आपस में अंतराल का प्रमाण
२८. सूर्य की अभ्यंतर गली की परिधि का प्रमाण
२९. दिन-रात्रि के विभाग का क्रम
३०. छोटे-बड़े दिन होने का विशेष स्पष्टीकरण
३१. दक्षिणायन एवं उत्तरायण
३२. एक मुहूर्त में सूर्य के गमन का प्रमाण
३३. एक मिनट में सूर्य का गमन
३४. अधिक दिन एवं मास का क्रम
३५. सूर्य के ताप का चारों तरफ पैâलने का क्रम
३६. लवण समुद्र के छठे भाग की परिधि
३७. सूर्य के प्रथम गली में रहने पर ताप-तम का प्रमाण
३८. सूर्य के मध्यम गली में रहने पर ताप-तम का प्रमाण
३९. सूर्य के अंतिम गली में रहने पर ताप-तम का प्रमाण
४०. चक्रवर्ती के द्वारा सूर्य के जिनबिम्ब का दर्शन
४१. पक्ष-मास-वर्ष आदि का प्रमाण
४२. दक्षिणायन एवं उत्तरायण का क्रम
४३. सूर्य के १८४ गलियों के उदय स्थान
४४. चन्द्रमा का विमान, गमन क्षेत्र एवं गलियाँ
४५. चन्द्र को एक गली के पूरा करने का काल
४६. चन्द्र का एक मुहूर्त में गमन क्षेत्र
४७. एक मिनट में चन्द्रमा का गमन क्षेत्र
४८. द्वितीयादि गलियों में स्थित चन्द्रमा का गमन क्षेत्र
४९. कृष्ण पक्ष-शुक्ल पक्ष का क्रम
५०. चन्द्रग्रहण-सूर्य ग्रहण का क्रम
५१. सूर्य चन्द्रादिकों का तीव्र-मंद गमन
५२. एक चन्द्र का परिवार
५३. कोड़ाकोड़ी का प्रमाण
५४. एक तारे से दूसरे तारे का अंतर
५५. जम्बूद्वीप संबंधी तारे
५६. ध्रुव ताराओं का प्रमाण
५७. ढाईद्वीप एवं दो समुद्र संबंधी सूर्य चन्द्रादिकों का प्रमाण
५८. मानुषोत्तर पर्वत के पूर्व के ही ज्योतिष्क देवों का भ्रमण
५९. २८ नक्षत्रों के नाम
६०. नक्षत्रों की गलियाँ
६१. नक्षत्रों की एक मुहूर्त में गति का प्रमाण
६२. लवण समुद्र का वर्णन
६३. लवण समुद्र में ज्योतिष्क देवों का गमन
६४. अन्तर्द्वीपों का वर्णन
६५. कुभोग भूमियाँ मनुष्य का वर्णन
६६. लवण समुद्र के ज्योतिष्क देवों का गमन क्षेत्र
६७. धातकीखण्ड के सूर्य चन्द्रादि का वर्णन
६८. कालोदधि के सूर्य, चन्द्रादिकों का वर्णन
६९. पुष्करार्धद्वीप के सूर्य, चन्द्र
७०. मनुष्य क्षेत्र का वर्णन
७१. अढ़ाई द्वीप के चन्द्र (परिवार सहित) (चार्ट नं.-५)
७२. जम्बूद्वीपादि के नाम एवं उनमें क्षेत्रादि व्यवस्था
७३. विदेह क्षेत्र का विशेष वर्णन
७४. १७० कर्मभूमियों का वर्णन
७५. इन क्षेत्रों में काल परिवर्तन का क्रम
७६. ३० भोगभूमियाँ
७७. जम्बूद्वीप के अकृत्रिम चैत्यालय
७८. मध्यलोक के सम्पूर्ण अकृत्रिम चैत्यालय
७९. ढाईद्वीप के बाहर स्थित ज्योतिष्क देवों का वर्णन
८०. पुष्करवर समुद्र के सूर्य चन्द्रादिक
८१. असंख्यात द्वीप समुद्रों में सूर्य चन्द्रादि
८२. ज्योतिर्वासी देवों में उत्पत्ति के कारण
८३. योजन एवं कोस बनाने की विधि
८४. भू-भ्रमण का खण्डन
८५. सूर्य-चन्द्र के बिम्ब की सही संख्या का स्पष्टीकरण
८६. ज्योतिर्लोक जिनालय स्तोत्र
Previous post
लघु नाटिकेन
Next post
ऐतिहासिक तीर्थ हस्तिनापुर
error:
Content is protected !!