सभी विमानों के ऊपर चारों तरफ तट वेदी उपवन खंड हैं एवं मध्य में जिनभवन हैं। चारों तरफ देवों के प्रमुख प्रासाद हैं। राजांगण के बाहर विविध प्रकार के उत्तम रत्नों से रचित परिवार देवों के भवन हैंं।