तिर्यगेकादश Fruition of specified eleven karmic nature of Tiryanch beings. 11 कर्म की ऐकयी प्रकृतिां जिनका उदय तिर्यचगति में होता है तिर्यचगति, तिर्यच गत्यानुपूर्वी, एकेंद्रियादि 4 जाति, आतप, उद्योत , स्थावर, सूक्ष्म, साधारण। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]