जन्म भूमि | मिथिलानगरी | प्रथम आहार | मिथिला नगरी के राजा नंदिषेण द्वारा (खीर) |
पिता | महाराजा कुंभराज | केवलज्ञान | पौष कृ. २ |
माता | महारानी प्रजावती | मोक्ष | फाल्गुन शु. ५ |
वर्ण | क्षत्रिय | मोक्षस्थल | सम्मेदशिखर पर्वत |
वंश | इक्ष्वाकु | समवसरण में गणधर | श्री विशाख आदि २८ |
देहवर्ण | तप्त स्वर्ण सदृश | मुनि | चालीस हजार (४००००) |
चिन्ह | कलश | गणिनी | आर्यिका बंधुषेणा |
आयु | पचपन हजार (५५०००) वर्ष | आर्यिका | पचपन हजार (५५०००) |
अवगाहना | सौ हाथ | श्रावक | एक लाख (१०००००) |
गर्भ | चैत्र शु. १ | श्राविका | तीन लाख (३०००००) |
जन्म | मगसिर शु.११ | जिनशासन यक्ष | कुबेर देव |
तप | मगसिर शु. ११ | यक्षी | अपराजिता देवी |
दीक्षा -केवलज्ञान वन एवं वृक्ष | श्वेतवन एवं अशोक वृक्ष |