21. सीता ने शील के प्रभाव से अग्नि का जल बना दिया
सीता ने शील के प्रभाव से अग्नि का जल बना दिया (२३६)फिर क्या था मेषकेतु सुर ने, अग्नी को जल में बदल दिया।सिंहासन लगा कमल ऊपर, सीता को उसपे बिठा दिया।।जल में जब लगे डूबने सब, सीता सम्मुख दौड़े आए।अब क्षमा करो अब दया करो, आवाजें देकर चिल्लाए।। (२३७)रघुवर चरणों को छू करके,वह जल थल…