रत्ननंदी!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रत्ननंदी – नंदीसंध बलात्कार गण में वीरनंदी न 1 के षिश्य व माणिक्यनंदी न 1 के गुरू। समय ई 639 से 668 Ratnanadi-Name of the disciple of Virnandi-1 and preceptor of Manikyanandi-1
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रत्ननंदी – नंदीसंध बलात्कार गण में वीरनंदी न 1 के षिश्य व माणिक्यनंदी न 1 के गुरू। समय ई 639 से 668 Ratnanadi-Name of the disciple of Virnandi-1 and preceptor of Manikyanandi-1
[[श्रेणी:शब्दकोष]] युग – दो कल्पो का एक युग होता है काल एवं क्षेत्र का प्रमाण चिषेशं। Yuga-Measurement unit of time & area
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रत्नद्वीप – राक्षसवंषी भानुरक्ष के दारा बसाया गया एक नगर। Ratnadvipa- Name of a city
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रत्नत्रयव्रत – वर्श में 3 बार, भादो, माध चैत्र में विघिपूर्वक षु, 13 से पूर्णिमा तक किया जाने वाला व्रत। Ratnatrayavrata- A particular type of vow or fasting
[[श्रेणी:शब्दकोष]] युक्त्यानुषासत – आचार्य समन्तभद्र कृत सस्कृत में 64 ष्लोक ष्लोक प्रमाण स्तोत्र। Yuktyanusasana- name of a book written by acharya samantbhadraji
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रत्नत्रयविघान – एक पूजा ग्रथ जिस पर पं आषाघर (इ्र, 1173 – 1243) ने सेस्क्रत में टीका लिखी है। Ratnatrayavidhana- Name of a worshipping book
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रत्नत्रयचक्र यंत्र – एक यंत्र, जिस पर रत्नत्रय चक्र के मंत्र विभिन्न रेखाकृतिया बनाकर चित्रित किए जाते है। Ratnatrayacakra Yantra-A type of metallic engravd with some auspicious mystic words & diagrams
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रत्नत्रयकथा – आचार्य पùनंदी (इ्र, 1280 – 1330) कृत एक संस्कृत ग्रंथ Ratnatrayakatha-Name of a boom written by acharya Padmanandi
[[श्रेणी:शब्दकोष]] युक्ति – पदार्थो को सिद्ध करने के लिए प्रयुक्त हेतू अथवा साधन। Yukti-Device, Stratagem
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रत्नत्रय – सम्यग्दर्षन, सम्यग्ज्ञान, सम्यग्चरित्र इन तीनो गुणो को रत्नत्रय कहते है। इनकी एकता मोक्षमार्ग है। Ratnatraya-Three spiritual jewels Right faith right knowledge right conduct