मुनिराज मुनिराज, वीरसागर मुनिराज!
मुनिराज मुनिराज तर्ज-णमोकार णमोकार, महामंत्र णमोकार…….. मुनिराज मुनिराज, वीरसागर मुनिराज। जिनकी शरण में आकर सबके बन जाते हैं काज।।मुनिराज.।।टेक.।। सभी शिष्य-शिष्याएँ अपना, सुख-दुख कहते गुरु से। मंद मंद मुस्कान से गुरुवर हरते सबका दुख थे।। माता-पिता-बन्धु बनकर वे रखते सबका ख्याल।।मुनिराज.।।१।। एक बार गुरुवर ने कहा, दो रोग मुझे देख देते। नींद व…