47. चंद्रमा जिनालय पूजा
पूजा नं.-47 चंद्रमा जिनालय पूजा अथ स्थापन-नरेन्द्र छंद जंबु दीप लवणोदधि से ले, असंख्यात द्वीपोदधि। अंतिम जलधि स्वयंभूरमणं, तक पैâले ये ज्योतिषि।। चंद्र इंद्र हैं ये भी संख्यातीत कहाये जग में। इनकें बिंबों के जिनगृह हो, पूजूँ रुचिधर मन में।।१।। ॐ ह्रीं मध्यलोके चंद्रविमानस्थितसंख्यातीतजिनालयजिनबिम्ब समूह! अत्र अवतर-अवतर संवौषट् आह्वाननं। ॐ ह्रीं मध्यलोके चंद्रविमानस्थितसंख्यातीतजिनालयजिनबिम्ब समूह! अत्र…