मध्यलोक के सम्पूर्ण अकृत्रिम चैत्यालय
मध्यलोक के सम्पूर्ण अकृत्रिम चैत्यालय जम्बूद्वीप के समान ही धातकीखण्ड एवं पुष्करार्ध में २-२ मेरू के निमित्त से सारी रचना दूनी-दूनी होने से चैत्यालय भी दूने-दूने हैं। धातकीखण्ड एवं पुष्करार्ध में २-२ इष्वाकार पर्वत पर २-२ चैत्यालय हैं। मानुषोत्तर पर्वत पर चारों ही दिशाओं के ४ चैत्यालय हैं। आठवें नंदीश्वर द्वीप की चारों दिशाओं के…