पूजामुख विधि
पूजामुख विधि….. पद्यानुवाद-गणिनीप्रमुख श्री ज्ञानमती माताजी नि:संग हो हे नाथ! आप दर्श को आया। स्नान त्रय से शुद्ध धौत वस्त्र धराया।। त्रैलोक्य तिलक जिनभवन की वंदना करूँ। जिनदेवदेव को नमूँ सम्पूर्ण सुख भरूँ।।१।। (जिनमंदिर के निकट पहुँचकर यह श्लोकर पढ़कर मंदिर को नमस्कार कर चारों दिशा में तीन-तीन आवर्त एक-एक शिरोनति करते हुए मंदिर की…