मुनि वारिषेण की कथा
मुनि वारिषेण की कथा किसी समय वारिषेण मुनिराज पलासकूट ग्राम में आहारार्थ आए। मंत्रीपुत्र पुष्पडाल ने उन्हें आहार दिया और उनको पहुँचाने के लिए कुछ दूर तक साथ चलने लगा। मुनिराज उसे स्थान तक साथ ले आए। पुनः बचपन के मित्र होने से वैराग्य का उपदेश देकर दीक्षा दिला दी, किन्तु पुष्पडाल मुनिराज अपनी स्त्री…