आनुपूर्वी (Aanupurvi)
आनुपूर्वी (Aanupurvi) नाम कर्म की ८३ प्रकृतियों में आनुपूर्वी नाम की एक प्रकृति है। जिसका लक्षण है- जिसके उदय से विग्रह गति में मरण से पहले के शरीर के आकार से आत्मा के प्रदेश बने रहे अर्थात् पहले शरीर के आकार का नाश न हो । इसके चार भेद है- नरकगत्यानुपूर्वी, तिर्यंचगत्यानुपूर्वी, मनुष्यगत्यानुपूर्वी और देवगत्यानुपूर्वी…