20. उपयोग अधिकार
उपयोग अधिकार बीसवाँ अधिकार उपयोग का लक्षण और भेद वत्थुणिमित्तं भावो, जादो जीवस्स जो दु उवजोगो। सो दुविहो णायव्वो, सायारो चेव णायारो।।१६६।। वस्तुनिमित्तं भावो जातो जीवस्य यस्तूपयोग:। स द्विविधो ज्ञातव्य: साकारश्चैवानाकार:।।१६६।। अर्थ—जीव का जो भाव वस्तु (ज्ञेय को) ग्रहण करने के लिए प्रवृत्त होता है उसको उपयोग कहते हैं। इसके दो भेद हैं—एक साकार (सविकल्प)…