कायोत्सर्ग के चार भेद
कायोत्सर्ग के चार भेद उत्थित-उत्थित, उत्थितनिविष्ट, उपविष्ट-उत्थित और उपविष्ट-निविष्ट।जो साधु खड़े होकर जिनमुद्रा से कायोत्सर्ग कर रहे हैं और उनके परिणाम भी धर्मध्यान या शुक्लध्यान रूप हैं उनका वह कायोत्सर्ग उत्थित-उत्थित है।जो कायोत्सर्ग मुद्रा में तो खड़े हैं किन्तु परिणाम में आर्तध्यान अथवा रौद्रध्यान चल रहा है । उनका वह कायोत्सर्ग उत्थित-निविष्ट है।जो बैठकर योगमुद्रा…