दशाध्यायी तत्त्वार्थ सूत्र
दशाध्यायी तत्त्वार्थ सूत्र श्री जिनकल्पी बृहद् प्रभाचंद कृत सूत्र के हिंदी अनुवाद कर्त्ता -श्री क्षुल्लक सिद्धसागर जी प्रथम अध्याय रत्न त्रय मय मार्ग है कहा सनातन जानी। वह प्रकटा जिन आप्त से नमूं उसे धर ध्यान ॥ १ ॥ सम्यग्दर्शन ज्ञान जो सम्यक् जो चारित्र। रत्नत्रय वह जान लो मोक्ष हेतु है मित्र ॥ २॥…