नंदीश्वरद्वीप पश्चिमदिश जिनालय स्तोत्र
नंदीश्वरद्वीप पश्चिमदिश जिनालय स्तोत्र -कुसुमलता छंद- नंदीश्वर में पश्चिम दिश में, तेरह जिन चैत्यालय जान। अंजनगिरि दधिमुख रतिकर पे, ऋद्धि सिद्धि कर सौख्यनिधान।। सिद्धरूप चिद्रूप चैत्य जिन, परमानंद सुधारस दान। त्रयशुद्धी से वंदन करके, वंदूं जिनप्रतिमा गुणखान।।१।। -अडिल्ल छंद- द्वीप आठवें पश्चिम दिश, अंजनगिरी। तापे जिनगृह अतुल सौख्य संपति भरी।। स्वयं सिद्ध१ जिनमूर्ति नमूं नित…