प्रयुतांग!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रयुतांग- काल का एक प्रमाण विषेश। Prayutanga- A time unit
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रयुत- काल का एक प्रमाणक। 84 लाख प्रयुतांग प्रमाण काल। Prayuta- A time unit
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रयाग- भगवान ऋशभदेव की दीक्षा एवं केवज्ञानकल्याणक भूमि (जहाँ भगवान ने प्रकृश्ट रुप से त्याग किया), वर्तमान इलाहाबाद (उ.प्र.)। युग के प्रथम केषलोंच, प्रथम जैनेष्वरी दीक्षा, प्रथम केवलज्ञान, प्रथम समवसरण एवं प्रथम आर्यिकादिक्षा की भूमि। पूज्य गणिनी श्री ज्ञानमती मातजी की प्ररण से ई. सन् 2001 में इस भूमि पर (इलाहाबाद-बनारस हाइवे पर) “तीर्थकर…
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमोद- मुख की प्रसन्नता आदि के द्वारा भीतर की भक्ति और अनुराग का व्यक्तहोना। यतियों के गुधें का विखर करके उनके गुधें में हर्श मानना यह प्रमोद भावना का लक्षण है। Pramoda- Joy, pleasure, delight
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमोक्षमार्ग- अर्हत, सिद्ध अवस्था की प्राप्ति का मार्ग है। मोक्ष-अर्हत अवस्था और प्रमाक्ष-सिद्ध अवस्था है। Pramoksamarga- Path leading to the bodiless state of salvation (as lord Siddha)
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमेयरत्नालंकार- आचार्य चारुकीर्ति (ई. 1544) कृत एक ग्रंथ। Prameyaratnalankara- A book written by acharyaCharukirti
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमेयरत्नाकर- प्र. आषाधर (ई. 1173-1243) द्वारा रचित एक ग्रंथ। Prameyaratnakara- A book written by PanditAshadharji
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमेयत्व- प्रमेय के भाव को प्रमेयत्व कहते है। Prameyatva- Something related to the knowledge of subject matter
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमेयकमलमार्तड- उचाईं मधिक्यनन्दि (ई. 925-1023) कृत परीक्षामुख पर आचार्य प्रमानन्द ( ई. 950-1020) कृत एक टीका। इसकी हिन्दी दिसा गणिनीप्रमुख श्री ज्ञानमती माताजी की प्रेरणा से उनकी षिश्या आर्यिका श्री जिनमती माताजी ने की है। (समयबीसवीं ससदी का उŸाराद्ध)। Prameyakamalamartanda- A book written by acharyaprabhachand
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमेय उपक्रम- उपक्रम के अर्थाधिकार का एक भेद। Prameya upakrama – a type of upkaram (a type of pursuance or introduction)