श्री चन्द्रानन तीर्थंकर पंचकल्याणक स्तुति
श्री चन्द्रानन तीर्थंकर पंचकल्याणक स्तुति —सखी छंद— श्री क्षेत्र विदेह अपर में, सीतोदा नदि उत्तर में। पुरि पुण्डरीकिणी नृप के, घर में सुरत्न बरसे थे।।१।। सुर मुकुट हिले जिन जन्में, प्रभु वृषभ चिन्ह धर जग में। अठ एक हजार कलश से, जिन न्हवन किया सुर हरषें।।२।। चंद्रानन नाम प्रसिद्धी, संसार सौख्य से विरती। तप लिया…