द्रव्य उपक्रम!
द्रव्य उपक्रम A type of Upakram – a pursuance in accordance with natural matters. उपक्रम का एक भेद (उपक्रम- जो प्रकृत प्रदत्त पदार्थ के अर्थ को अपने समीप करता है)। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
द्रव्य उपक्रम A type of Upakram – a pursuance in accordance with natural matters. उपक्रम का एक भेद (उपक्रम- जो प्रकृत प्रदत्त पदार्थ के अर्थ को अपने समीप करता है)। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
छंदशास्त्र Prosody-the science of versification, many books written by Jainacharyas. काव्यानुशासन , व्यख्यालंकार , पिंगल आदि अनेक आचार्यों एवं पंडितों द्वारा रचित ग्रन्थ ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्थापना -Sthaapanaa. Installation, establishment, positioning.धारण, स्थापना, कोष्ठा, प्रतिष्ठा एकार्थवाची है। जिसके द्वारा निर्णीत रुप से अर्थ स्थापित किया जाता है। वह स्थापना है।
द्रविक A liquid substance or melted substance. पतला, तरल पदार्थ।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]
चलनी A type of listener who grasp meaningless thoughts. श्रोता का एक भेद ; सारभूत तत्त्व को छोड़कर जो निस्सार तत्व को ग्रहण करे ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] सम्यक् नय – Samyak Naya. A standpoint believing in righteousness सुनय। सम्यक् एकांत को सम्यक् नय और मिथ्या एकांत को नयाभास या मिथ्यानय कहते है।
दोग्रंथिक पाहुड Supreme treatise (commandments) containing knowledge of all 12 Angas. जिन भगवान के द्वारा निर्दोष श्रेष्ठ विद्धान आचार्यों की परम्परा से भव्य जनों के लिए भेजे गये बारह अंगों के वचनों का समुदाय अथवा उनका एकदेषपरमानंद।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]
चुगलखोर One who deals in slander, A sycophant, A backbiter. दूसरों की शिकायत या चुगली करने वाला ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्त्रीवेद – Striiveda. Femininity (pertaining to sex).जिसके उदय से जीव स्त्री सम्बन्धी भावो को प्राप्त होता है वह स्त्री वेद है, अथवा जिन कर्म स्कन्धो के उदय से पुरुष मे आकांक्षा उत्पन्न है, उन कर्म स्कन्धो को स्त्रीवेद यह संबा है अथवा जिसके उदय से पुरुष मे रमने के भाव हो वह स्त्रीवेद है।
[[श्रेणी : शब्दकोष]] भद्र्बल – Bhadrabala. Name of a chief disciple of Lord Adinath. आदिनाथ भगवान् के १९ वें गणधर का नाम “