प्रतीक!
[[श्रेणी:शब्दकोष]][[श्रेणी:पुत्र]] प्रतीक- pratika symbol चिन्ह।
[[श्रेणी:शब्दकोष]][[श्रेणी:पुत्र]] पुरु – Puru. The best, A city situated in the north of Vijayardh mountain. श्रेष्ठ, विजयार्थ की उत्तर श्रेणी का एक नगर “
[[श्रेणी:शब्दकोष]][[श्रेणी:पुत्र]] अन्वय Logical connection with lineage (ancestry). अपनी जाति को न छोड़ते हुए उसी रूप में अवस्थित रहना ।
[[श्रेणी:शब्दकोष]][[श्रेणी:पुत्र]] वंश –Vansh.: A dynasty ,a lineage ,a family line . ऐतिहासिक –पौराणिक कुल परम्परा “
[[श्रेणी:व्रतों_की_तिथि_का_निर्णय]] ==एकाशन के लिए तिथिविचार== ज्योतिष शास्त्र में एकाशन के लिए बताया गया है कि ‘मध्याह्नव्यापिनी ग्राह्या एकभत्तेâ सदा तिथि:’ अर्थात् दोपहर में रहने वाली तिथि एकाशन के लिए ग्रहण करनी चाहिए। एकाशन दोपहर में किया जाता है, जो एक भुक्तिका—एक बार भोजन करने का नियम लेते हैं, उन्हें दोपहर में रहने वाली तिथि में…
[[श्रेणी:शब्दकोष]] शांतिसागर – Shantisaagar. Name of the first Digambar Jain Acharya of 20th century , the disciple of Muni Shri Devendrakirti Maharaj. बीसवीं सदी के प्रथम आचार्य-आप दक्षिण देश के भोज ग्राम ( कर्नाटक ) के रहने वाले क्षत्रिय वंशी भीमगौड़ा-सत्यवती के पुत्र थे “आपका जन्म आषाढ़ कृ.6, वि. सं. 1929 ( सन् 1872 )…
[[श्रेणी:जैन_सूक्ति_भण्डार ]] [[ श्रेणी:शब्दकोष]] == अनशन : == मासे मासे तु यो बाल:, कुशाग्रेण तु भुङ्क्ते। न स स्वाख्यातधर्मस्य, कलामर्घति षोडशीम्।। —समणसुत्त : २७३ जो बाल (परमार्थशून्य अज्ञानी) महीने—महीने के तप करता है और (पारणे में) कुश के अग्रभाग जितना (नाममात्र का) भोजन करता है, वह सुआख्यात धर्म की सोलहवीं कला को भी नहीं पा…
[[श्रेणी : शब्दकोष]] विनय मिथ्यात्व – Vinaya Mithyatva. Wrong belief-paying reverence to all deities of all religions. मिथ्यात्व के ५ भेदों में एक भेद; मन वचन काय से सभी देवों को नमन करना, सभी पदार्थों को मोक्ष का उपाय मानना ” अर्थात् सर्व धर्मों व सर्व देवों को समान जानकर मानना “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] पांड्य:A country situated in the middle aryakhand (region).मघ्य आर्यखण्ड मे स्थित एक देश।
द्वितीय मूल Cube of the 1st cube (related to maths). प्रथम मूल के मूल को द्वितीय मूल कहते हैं ।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]