लोकबाधित!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] लोकबाधित – Lokabaadhit.: A fallacy of universal obstruction . बाधित हेत्वाभास का एक भेद ;जिस हेतु के साध्य में लोक से बाधा आती है “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] लोकबाधित – Lokabaadhit.: A fallacy of universal obstruction . बाधित हेत्वाभास का एक भेद ;जिस हेतु के साध्य में लोक से बाधा आती है “
[[श्रेणी: शब्दकोष]] परिपुष्ट: Stout, strong well-nourished. पुष्ट, दृढ, स्थूल शरीर वाला “
[[श्रेणी: शब्दकोष]] पद्मावती कल्प:A book written by Mallishen Bhattarak. मल्लिषेण भटटारक (ई0 श0 11) कृत तान्त्रिक ग्रंथ ।
[[श्रेणी :शब्दकोष]] मोक्षमार्ग प्रकाशक–Mokshmarg Prkashak. Name of a book written by Pandit Todarmalji. प. टोडरमल जी द्वारा रचित एक ग्रंथ”
[[श्रेणी:शब्दकोष]] सुमागधी – Sumaagadhee. Name of a river of eastem middle Arya Khand (region). पूर्वी मध्य आर्य खण्ड की एक नदी ।
[[श्रेणी:शब्दकोष]] पारिग्राहिकी क्रिया – Parigrahiki Kriya. Activity causing constant attachment to worldly objects. सम्परायिक आस्त्रव की २५ क्रियाओं में एक क्रिया; यह परिग्रह में प्रवृत्ति कराने वाली होती है “
[[श्रेणी: शब्दकोष]] पद्मसेन:Past-birth name of Lord Vmalnath, Name of a great Acharya. विमलनाथ भगवान के पूर्वभव का नाम, भगवान महावीर निर्वाण के पश्चात् हुए आचार्यो में एक आचार्य ।
[[श्रेणी : शब्दकोष]] भववृक्ष – Bhavavrksa. The symbolic disposition of the mortal world in the form of a tree. संसार व्रक्ष; जहाँ प्राणी मधुविंदु के समान पञ्वेन्दिृय विषयों के क्षणिक सुख में डूबकर अनन्त संसार का बंध करता है ” ध्यानरूपी कुठार के द्वारा भाव श्रमक ही इस भव व्रक्ष का छेदन करते हैं “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] लोंच – Lonch.: Plucking of hair by own hands (a basic restrain of Jain saints). बाल उखाड़ना ” दिगम्बर जैन साधु –साध्वियों के 28 मूलगुणों में से एक मूलगुण 4 , ३ या २ महीने में अपने सिर के एवं दाढ़ी , मूंछ के बालों को हाथ से उखाड़ना “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] पामर – Pamara. A vile person. निम्न जाति व निम्नकर्म करने वाले जीव “