वचनप्रवृति!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] वचनप्रवृति – Vachanpravrtti.: Speaking activities. जीव की बोलने हेतु प्रयत्न रूप क्रिया या प्रवृति “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] वचनप्रवृति – Vachanpravrtti.: Speaking activities. जीव की बोलने हेतु प्रयत्न रूप क्रिया या प्रवृति “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निसर्ग – Nisarga. Natural state, NNature. स्वभाव या प्रवर्तन “
तदाभास To have same impression. उस जैसा अनुभव होना (आवश्यक नहीं कि वह सत्य हो) । [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] वक्रांत – Vakraanta: Name of a dwelling place of a hellish earth (Ratnaprabha). रत्नप्रभा पृथ्वी के 11वें प्रस्तर का इन्द्रक बिल “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निष्कुट क्षेत्र – Nishkuta Kshetra. A region which is located in the topmost corner of the universe outside of the mobile channel. लोक शिखर का कोण भाग “
जयंत Name of an ‘Anuttar’ heaven, Name of a summit of Ruchak mountain, A door of Jambudvip (an island), Cities in the north & south of Vijayardh mountain, Name of a planet and a demigod. एक अनुत्तर स्वर्ग का नाम , रूचक पर्वत का एक कूट , जम्बूद्वीप की जगती का द्वार , विजयार्ध की…
[[श्रेणी:शब्दकोष]] शिलान्यास विधि – Shilaanyaasa Vidhi. Auspicious activity of the laying down of the foundation stone. मंदिर, मकान आदि को बनाने के प्रारम्भ में नींव के अन्दर मंत्रपूर्वक की जाने वाली एक धार्मिक विधि ” इसमें भूमि शोधन, पंचकुमार पूजन आदि के साथ-साथ पंचकलश, रजत स्वस्तिक, नवरत्न, सोना-चाँदी की ईंट तथा घृत दीपक आदि स्थापित…
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निषेधिका – Nishedhikaa. Entering in the temple etc. places with the permission of the governing deities there. मन्दिर, वसतिका आदि स्थानों में प्रवेशके समय वहाँ से अधिष्ठाता देव से आज्ञा लेना अर्थात् ‘निःसही’ बोलते हुए प्रवेश करना “
तत्ववती धारणा Auspicious conceptual meditation with contem-plation. पिंडस्थ ध्यान की एक धारणा जिसमें अपनी आत्मा को अतिशय युक्त, सिंहासन पर आरूढ,कल्याण की महिमा सहित देव, दानव धरणेन्द्रादि से पूजित है, ऐसा चिन्तन करना। तत्पश्चात अपने शरीर में प्राप्त आठों कर्मो से रहित निर्मनल पुरूषाकार आत्मा का चिंतवन करना। [[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] शिखिकंठ – Shikhikantha. Name of the 6th predestined Pratinarayana. आगामी छटा प्रतिनारायण “