निर्दोष!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निर्दोष – Nirdosha. Innocent, blameless. दोष रहित; समस्त पापमल कलंकरूपी कीचड़से रहित अर्थात् पवित्र “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निर्दोष – Nirdosha. Innocent, blameless. दोष रहित; समस्त पापमल कलंकरूपी कीचड़से रहित अर्थात् पवित्र “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निर्ग्रन्थलिंड़् – Nirgranthalinga. Possessionless &passionless sign, state of Digambar saint. दिगम्बर मुनि; जिनमुद्रा अर्थात् अर्हन्त मुद्रा, नीष्परिग्रह लिंग (चिन्ह) “
तपाराधना Reverential prayer with austerity. 4 आराधना में एक तप का सेवन करना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निरावरण – Niraavarana. Univeiling, Uncovered. आवरण से रहित (केवल ज्ञान), मुनियों के द्वारा बिना आवरण के शयन करना कायक्लेश तप का एक लक्षण है”
तपनीय The 19th Patal (layer) and Indrak of Saudharm heaven, A summit of Manushottar mountain. सौधर्म स्वर्ग का 19 वां पटल व इन्द्रक , मानुषोत्तर पर्वत पर स्थित एक कूट। [[श्रेणी: शब्दकोष ]] या That which can be mortified; Reddish lustre like heated gold. जिसे तपाया जा सके, तपाये गये सोने के समान लाल ।…
देवावर्णवाद False allegations for heavenly deities. दर्शनमोहनीय कर्म के आस्रव का एक कारण स्वर्गलोक में रहने वाले देवी- देवता सुरापान करते हैं , मांस खाते हैं इस प्रकार देवगति के देवों पर मिथ्या आरोप लगाना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
तदुभय ज्ञानाचार Reading hymns, lessons etc. with proper pronu-ciation and understanding. अर्थ को ठीक ठीक समझाते हुए शुद्ध पाठ आदि पढना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] लोकादित्य –Lokaditya : Name of a king contemporary to Akaalvarsh. उत्तरपुराण की प्रशस्ति अनुसार अकालवर्ष के समकालीन एक राजा, आचार्य लोकसेन ने इनके समय में ही उत्तरपुराण को पूर्ण किया “समय –ई .898 “