प्रवचन मातृका!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रवचन मातृका – 5 समिति और ३ गुप्ती ऑफ़ प्रवचन मातृका कहते है ” Pravacanamatrka- Conduct with carefulness and self control
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रवचन मातृका – 5 समिति और ३ गुप्ती ऑफ़ प्रवचन मातृका कहते है ” Pravacanamatrka- Conduct with carefulness and self control
तत्वानुशासन A book written by Acharya Samantabhadra. आचार्य समंतभद्र (ई.श.2) द्वारा रचित एक ग्रंथ, जो न्यायपूर्वक तत्वों का अनुशासन करता है। [[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रदक्षिणा- वन्दना करते समय गुरु, जिन और जिनग्रह की परिक्रमा करना। pradaksina – circumambulation, salutary circling.
तक्षशिला Former name of the present city of Punjab ‘Taiksila’. वर्तमान टैक्सिला, उत्तर पंजाब का एक प्रसिद्ध नगर। सिंधु नदी से जेहलम तक समस्त प्रदेश का नाम तक्षशिला था, जिस पर सिकंदर के समय राजा अम्भी राज्य करता था। [[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमेय उपक्रम- उपक्रम के अर्थाधिकार का एक भेद। Prameya upakrama – a type of upkaram (a type of pursuance or introduction)
चन्द्रकान्तशिला The cliffs of moon-stone having melting property. चन्द्रकान्त मणि से निर्मित एक शिला , ये शिलाएं रात्री में चन्द्रमा की किरणों का स्पर्श पाकर द्रवीभूत होने लगती हैं ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमाद चर्या- अनर्थदंड का एक भेद। प्रमाद पूर्वक व्यवहार आचरण करना। PramadaCarya- conduct with carelessness
चन्द्रदेव Son of Jarasandh, A type of stellar deities. जरासंध का पुत्र, ज्योतिश्का देवों के ५ भेदों में से एक भेद ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमाण विस्तार- आचार्य धर्मभूशण (ई.श. 14) द्वारा रचित एक ग्रंथ। PramanaVistara- A book written by Acharya Dharmabhushan
गृहपति The chief person of the house, A Jewel of Chakravarti (emperor). घर का प्रबंधक , चक्रवर्ती का एक सजीव रत्न।[[श्रेणी:शब्दकोष]]