धूप!
धूप Fragrant gum or resin; one of the 8 worshipping articles of Lord Arihant. जिन भगवान की पूजन की अष्टद्रव्य सामग्री का एक द्रव्य, जिसको अग्नि में ‘खे’ (स्वाहा) कर अष्टकर्मों को दहन करने की भावना भायी जाती है। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
धूप Fragrant gum or resin; one of the 8 worshipping articles of Lord Arihant. जिन भगवान की पूजन की अष्टद्रव्य सामग्री का एक द्रव्य, जिसको अग्नि में ‘खे’ (स्वाहा) कर अष्टकर्मों को दहन करने की भावना भायी जाती है। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रजापति – Prajaapati. A king, Another name of Lord Rishabhdev & the name of his 57th chief dosciple, Father’s name of the 1st Narayan ‘Triprashtha’ and the 1st baldeva ‘Vijay’ and preceding deity of Rohini lunar. राजा, भगवान ऋषभदेव का दूसरा नाम एवं उनके 57वें गणधर का नाम, प्रथम नारायण ’त्रिपृष्ठ’ तथा प्रथम बलदेव…
धान्यमाष फल A weighing unit. तौल का एक प्रमाण विशेष । 16 श्वेत सर्षप फल 1 धान्यमाष फल। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
धर्मोपदेश Religious sermon. स्वाध्याय तप का एक भेद; धर्म का उपदेश देना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
धर्मसूरि A disciple of Acharya Mahendrasuri. आचार्य महेन्द्रसूरि के शिष्य (ई. 1209) एवं जम्बूस्वामी सरना के कर्ता। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
धर्ममूढ़ता Religious ignorance, silliness. लोकमूढ़ता ; धर्मलाभ मानकर नदी-समुद्र आदि में स्नान करना,बालु, पत्थर आदि का ढेर लगाना, पर्वत से गिरना, अग्नि में जलना आदि। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] भेदप्रवृति:Differential attitude or attitude of differentiation. अभेद रूप से गृहीत वस्तुओं का परमाणु पयतं भेद करना “
धर्मंधर Name of the writer of ‘Nagkumar Charit’ and ‘Shreepal Charit’. नागकुमार चरित्र तथा श्रीपाल चरित्र के रचयिता।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी : शब्दकोष]] विनय संपन्नता – Vinaya Sampannata. Reverence with respect (humble reverence). षोडशकारण भावना का एक भेद; ज्ञान आदि गुणों और उनके साधक गुरुजनों का यथायोग्य रीती से आदर सत्कार करना “
धर्म Religion, Daily observances of religious rites. ‘‘उत्तमे सुखे धरतीति धर्म’’ अर्थात् जो प्राणियों को उत्तम सुख में पहुँचा दें, उपासना करना, सत्कर्म। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]