व्यंजन पर्याय!
[[श्रेणी : शब्दकोष]] व्यंजन पर्याय –Vyainjana Paryaya. Physical form of beings. जो स्थूल है, शब्द के द्वारा कही जा सकती है और चिरस्थायी है उसे व्यंजन पर्याय कहते हैं ” जैसे-जीव की सिध्द या मनुष्य आदि पर्याय “
[[श्रेणी : शब्दकोष]] व्यंजन पर्याय –Vyainjana Paryaya. Physical form of beings. जो स्थूल है, शब्द के द्वारा कही जा सकती है और चिरस्थायी है उसे व्यंजन पर्याय कहते हैं ” जैसे-जीव की सिध्द या मनुष्य आदि पर्याय “
उपशांतकर्म Karmas existing but not fruitful. कर्म की शक्ति की अप्रगटता या फल न देना किन्तु सत्ता में बैठे रहना।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
आर्यिका Jaina most virtuous and adorable female ascetics are called ‘Aryika’, Name of a book written by Ganini Gyanmati Mataji. नारी जीवन के उत्कृष्ट त्याग की अवस्था।दिगम्बर मुनियों के समान ही आर्यिकाओं की विधि होती है, एक साड़ी मात्र नवधाभक्ति कहते हैं।अहिंसा आदि पांच महाव्रतों का पालन करने वाली यह कर्म शत्रु का विनाश करने…
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निर्वाणभक्ति – Nirvaanabhakti. A devotional prayer for salvation of one, A composition Composed by Acharya Kund-Kund & Acharya Pujyapad. 10 भक्तियों में एक भक्ति-आचार्य कुंद-कुंद द्वारा प्राकृत में रचित एवं आचार्य पूज्यपाद द्वारा संस्कृत में रचित “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निर्लोभ – Nirlobha. Greedless. शौच धर्म; चारों prप्रकार kके लोभ से रहित होना “
आहारपर्याप्ति नामकर्म Complete development of body after trans-migration. आहार वर्गणा के परमाणुओं को खल व रसभाग रूप परिणामावने के कारणभूत जीव की शक्ति की पूर्णता।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी : शब्दकोष]] बाह्य प्रत्यय – Bahya Pratyaya. External causes for passions. क्रोधादि रूप भाव कषाय कि उत्पति के कारण भूत जो जीव और अजीव रूप बाह्य द्रव्य है वह बाह्य प्रत्यय हैं “
[[श्रेणी : शब्दकोष]] बाह्रा लिंग – Bahya Limga. External emblem or marks. बाहरी चिन्ह, दिगम्बरत्व “
उपलब्धिसमा जाति Parity per attainments . वादी द्वारा कहे जा चुके कारण के अभाव होने पर भी साध्य धर्म का उपलब्ध हो जाना।[[श्रेणी:शब्दकोष]]