उदीची!
उदीची North direction. उत्तर दिशा।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी: शब्दकोष]]हतसमुत्पत्तिक – Hatasamutpattika. The karmic places originated after the destruction of the relative karmas. कर्मों का द्यात जाने पर जिन सत्यकर्म अर्थात् सत्ता मे विद्यमान कर्म की उत्पत्ति होती है, उन्हे हतसमुत्पत्तिक कहते है।
[[श्रेणी: शब्दकोष]] परपाखण्ड कथा:Tale pertaining to hypocrisy.पाखण्ड से संबंधित कथा।
[[श्रेणी: शब्दकोष]]स्वेच्छारी – Svecchaacaarii. One free from any restraints, willful, wayward. अपनी इच्छा से आचरण करने वाला।
[[श्रेणी: शब्दकोष]] परजुगुप्सा कथा:Contemptuous talk.दूसरों के प्रति ग्लानि व अरूचि उत्पन्न कराने वाली कथा ।
[[श्रेणी: शब्दकोष]]स्वाभाविक आनंद – Svaabhaavika Aanamda. Supreme natural bliss, supreme pleasure. निश्चत मोक्षमार्ग के अनेक नामो मे एक नाम, समस्त विकल्पो से रहित परम समाधि से उत्पन्न होने वाला सुख।
[[श्रेणी:शब्दकोष]] लिगज श्रुतज्ञान – अनक्षरात्मक श्रुतज्ञान, चिन्ह से उत्पन्न होने वाला श्रुतज्ञान। Limgaja Srutajnana-A kind of symbolic knowledge pertaining to Shrutgyan (scriptural knowledge), Unsyllabic knowledge
[[श्रेणी:शब्दकोष]] साक्षर शब्द – Sakshara Sabda. Syllabary language. मनुष्यों की भाषा साक्षरी तथा पशु-पक्षियो की निरक्षरी होती है।
[[श्रेणी:शब्दकोष]] लाघव – लघुता, हल्कापन षरीर का भारीपन नश्ट होना। तपष्चरण से षरीर में ये गुण प्राप्त होता है जिसे लघिमा ऋद्धि कहते है। Laghava-Lightness, minuteness
[[श्रेणी:शब्दकोष]] सांतर बंधी प्रकृति – Saantara Bandhee Prakrti. A karmic nature with having property of its anhihilation (to put out of existence of one Gati for another). जिस कर्म प्रकृति का काल के क्षय से बन्ध व्युच्छेद संभव है वह सांतरबंधी प्रकृति है। अर्थात् जहां किसी समय देवगति का बंध हो और किसी समय अन्य…