राषि!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] राषि – अंक या संख्याएं ज्यातिश्चक्र की बारह राषियां। जो जन्मकुडली एवं पंचाग आदि से ज्ञात की जाती है। Rasi-Any number of quantity, the sign
[[श्रेणी:शब्दकोष]] राषि – अंक या संख्याएं ज्यातिश्चक्र की बारह राषियां। जो जन्मकुडली एवं पंचाग आदि से ज्ञात की जाती है। Rasi-Any number of quantity, the sign
[[श्रेणी:शब्दकोष]] सप्तभंगी – Saptabhamgii. The theory of seven fold predication consisting in various way of affirmation and negation regarding any substance. प्रश्न के अनुसार एक ही वस्तु मे जो बिना किसी विरोघ के सत् असत् आदि धर्मों का कथन किया जाता है। उसे सप्तभंगी कहते है। इसी का दूसरा नाम स्याद्वाद्व शैली कहते है।
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रूचकाभ – कुण्डलवर पर्वत का एक कूट। Rucakabha-name of a summit of Kundalvar Mountain
[[श्रेणी:शब्दकोष]] शुद्धि – Shuddhi. Purity (reg. matter, region, time, food etc), repentance. द्रव्य, क्षेत्र, काल, भाव भोजनादि रूप अनेक प्रकार की शुद्धि, दोष होने पर प्रायश्चित लेकर विशुद्धि करना शुद्धि कहलाती है “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] सन्मतिसागर (आचार्य) – Sanmatisaagara (Aacaarya). Name of the chief disciple of Acharya Mahavirkirti of Ankikar tradition. आचार्य श्री आदिसागर अंमलीकर की परम्परा मे हुए आचार्य श्री महावीरकीर्ति महाराज जी के पट्टाचार्य ग्समय ई. 20 वीं शताब्दी)।
[[श्रेणी:शब्दकोष]] यषोभद्र – श्रुतकेवली भद्रबाहु द्वि के गुरू जो आचारांग के गुरू थे। समय ई पू 53 – 35 Yoshobhadra and another name of Acharya Bhadrabahu (II)
गुरु उपास्ति Veneration for spiritual teachers. आचार्य आदि वीतरागी गुरूओं की पूजा करना तथा उनकी सेवा में सदा तत्पर रहना ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] युग – दो कल्पो का एक युग होता है काल एवं क्षेत्र का प्रमाण चिषेशं। Yuga-Measurement unit of time & area
गोम्मटसार A book written by Acharya Nemichandra Siddhant Chakravarti. चामुंडराय की प्रेरणा से आचार्य नेमीचन्द्र सिद्धांत चक्रवर्ती (ई.श. ११ पूर्वार्द्ध)द्वारा रचित एक सिद्धांत ग्रन्थ ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]