आपके दिमाग में क्या चल रहा है, अब जान जाएंगे दूसरे लोग अब आपके दिमाग की प्राईवेसी भी खत्म होने वाली है यानि जो आपके दिमाग में चल रहा है उसका पता दूसरों को भी होगा। क्योंकि दुनियां में अब ऐसा हो चुका है। पहली बार कम्प्यूटर की मदद से एक इंसान के दिमाग की…
”ईशान कोण शास्त्र अनुकूल हो, जन्नत के जैसा माहौल बना देता है” ईशान कोण ईश्वर का कोण है। ईशान कोण शास्त्र अनुकूल हो, जन्नत के जैसा माहौल बना देता है। खुशियाँ देने में ईशान कोण समर्थ होता है। गतांक में आपने पढा था, दूषित ईशान कोण अर्श से फर्श पर ला सकता है ईशान…
आखिर कब तक ? एक मेढ़क को खौलते हुए पानी में डाला गया मेढक कूद कर निकल गया, कूदना मेढक का स्वभाव है, वो कूद सकता है, जहां अपनी जान पर बनी हो वहाँ तो और भी तेजी से कूदेगा, अब उसी मेंढक को एक साधारण पानी में डाला गया और पानी का तापमान धीरे—धीरे…
कालसर्पयोग निवारक भगवान पार्श्वनाथ,जम्बूद्वीप-हस्तिनापुर तीर्थक्षेत्र -संजय जैन (कानपुर वाले), जम्बूद्वीप-हस्तिनापुर राजधानी दिल्ली से ११० कि.मी. एवं मेरठ से ४० कि.मी. दूर स्थित श्री दिगम्बर तीर्थ जम्बूद्वीप-हस्तिनापुर धरती का स्वर्ग (मानव द्वारा निर्मित) माना जाता है। जैन समाज की सर्वोच्च साध्वी परमपूज्य गणिनीप्रमुख श्री ज्ञानमती माताजी की पावन प्रेरणा से निर्मित विश्वविख्यात जैन भूगोल की अद्वितीय…
मानवीय आहार एवं शाकाहार अजित जैन ‘जलज’ सारांश मानवीय आहार क्या है और कैसा होना चाहिए ? इस पर प्रस्तुत शोध पत्र में विस्तृत वैज्ञानिक विवेचन किया गया है। समस्त शोध संदर्भ प्रामाणिक पत्र पत्रिकाओं से लिये गये हैं। अधिकांश वैज्ञानिक तथ्य लेखक द्वारा सर्वप्रथम संकलित कर समायोजित किये गये हैं हालाकि अनेक संदर्भों को…
कुण्डलपुर श्रद्धा का विषय है तर्क का नहीं विगत दिनों विभिन्न जैन पत्र-पत्रिकाओं में भगवान महावीर की जन्मभूमि कुण्डलपुर अथवा वैशाली? पर विभिन्न विद्वानों एवं संतों के विचार, तर्क और प्रमाण, इतिहास, पुरातत्व, भूगोल और आगम के आधार पर देखने को मिले। सभी ने अपने-अपने दृष्टिकोण से कुण्डलपुर (नालंदा) अथवा वैशाली को भगवान महावीर की…
राग-विराग की फाग (काव्य चौबीस व पच्चीस से सम्बन्धित कथा) राजा जितशत्रु बड़े ही विलासी कामुक व्यक्ति थे। एक दो नही अपितु ३६ राजकुमारियों से उन्होंने विवाह किया था! बसंत का सुहावना समय था। कोयल की कूक और सुगन्धित पवन के झोंके कामियों को उन्मत्त करते थे। वस्त्रालंकारों से विरहित वसुन्धरा और पादपवृन्द भी संकोच…