तर्क!
तर्क Argument, Inductive reasoning, Logic. उपलब्धि और अनुपलब्धि की सहायता से होने वाला व्याप्तिज्ञान जैसे – धुएँ को देखकर अग्नि का ज्ञान होना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
तर्क Argument, Inductive reasoning, Logic. उपलब्धि और अनुपलब्धि की सहायता से होने वाला व्याप्तिज्ञान जैसे – धुएँ को देखकर अग्नि का ज्ञान होना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
गुणभद्र Name of Acharyas, disciple of Acharya Jinsen (II) etc. आचार्य जिनसेन द्वितीय के शिष्य ई. ८७०-९१० उत्तरपुरंज आदि के करता इस नाम के और भी कुछ आचार्य हुए ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी: शब्दकोष]] भोगोपभोग:Enjoyment of worldly pleasures. जो वस्तु एक बार भोगने में आये वह भोग (भोजन इत्यादि) एवं जो बार बार भोगने में आये वह उपभोग (शय्या इत्यादि) कहलाती है “
तपशुद्धि Purity through austerity. सदा संयम, समिति, ध्यान और योगों में प्रमाद रहित होते हुए तपश्चरण तथा तेरह प्रकार के चारित्र में उद्यमी रहने हुए पापों का नाश करना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
गौरीविद्या A super knowledge, initiator of Gaurik Vidyadhar dynasty. एक विद्या; जिससे गौरिक विद्याधर वंश की उत्पत्ति हुई ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी: शब्दकोष]] भोगंकरा:A female deity of Gajdant summit. गजदन्त कूट की एक देवी का नाम “
तदुभय प्रायश्चित्त A type of repentance (related to self criticism). प्रायश्चित्त के 10 भेदों में एक भेद आलोचना और प्रतिक्रमण दोनों का संसर्ग होने पर दोषों का शोधन होने से तदुभय प्रायश्चित्त है। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
गद्यचिंतामणि A book written by Acharya Vadeebh singh. आचार्य वादीभसिंह ओइय देव (ई. ७७०-८६०) द्वारा रचित एक ग्रंथ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
तदिंद्रियालोचन Staring at the beauty of a woman ( with some bad intention). 10 प्रकार के अब्रह्म में एक भेद, स्त्रियों के सुन्दर शरीर का अवलोकन करना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] शुद्ध निश्चयनय – Shuddha Nishchayanaya. A viewpoint believing the pure soul . शुद्ध आत्मा द्रव्य को ग्रहण करने वाला नय “