ध्रौव्य!
ध्रौव्य Substantial continuity or permanence. द्रव्य की स्वभाव रूप स्थिरता का नाम ध्रौव्य है। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
ध्रौव्य Substantial continuity or permanence. द्रव्य की स्वभाव रूप स्थिरता का नाम ध्रौव्य है। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[ श्रेणी:जैन_सूक्ति_भण्डार ]] [[ श्रेणी:शब्दकोष ]] == तीव्रकषायी : == आत्मप्रशंसनकरणं, पूज्येषु अपि दोषग्रहणशीलत्वम्। वैरधारणं च सुचिरं, तीव्रकषायाणां लिंगानि।। —समणसुत्त : ६०० अपनी प्रशंसा करना, पूज्य पुरुषों में भी दोष निकालने का स्वभाव होना, दीर्घकाल तक वैर की गाँठ को बांधे रखना—ये तीव्रकषाय वाले जीवों के लक्षण हैं।
ध्यानस्थ पुरूष An omniscient engrossed in deep meditation. ध्यान में स्थित पुरूष केवली अन्तस्तत्व का वेदन करने वाले परम जिनयोगीश्वर ।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]
धृष्टार्जुन Another name of Dhrashtadyumn, a warrier of Krishna. कृष्ण का योद्धा, अपरनाम धृष्टद्युम्न। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी: शब्दकोष]] भेद स्वभाव:Differentiation in nature, discriminative nature of matters. द्रव्योंके 11 सामान्य स्वभावों में एक स्वभाव ; गुण-गुणीआदिमेंसंज्ञा , लक्षण, प्रयोज़ंन की अपेक्षा भेद होने से भेद स्वभाव होताहै “
धृतराष्ट्र Father of Duryodhan including all 100 Kaurvas. द्रुयोधन आदि सौ कौरव पुत्रों के पिता ; एक कुरूवंशी राजा। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रतिपात – Pratipaata. Fall, Counter – fall. गिरने का नाम प्रतिपात है “