उभयासंख्यात!
उभयासंख्यात Doubtful absense of both complementary causes (not reaching) . लोकाकाश की दो दिशाओं में स्थित प्रदेश पंक्ति उभयासंख्यात है।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
उभयासंख्यात Doubtful absense of both complementary causes (not reaching) . लोकाकाश की दो दिशाओं में स्थित प्रदेश पंक्ति उभयासंख्यात है।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रक्तोदा (कुंड) – 1 – 32 विदेहो में गंगा सिन्धु आदि 64 नदियो में रक्तोदा नदी का कुंड जो नील व निशध पर्वत के मूल भाग में स्थित है, 2 – ऐरावत क्षेत्र में स्थित एक कंुड जिसमे रक्तोदा नदी गिरती है। Raktoda (Kumda)-Name of wide mouthed pools
[[श्रेणी:शब्दकोष]] लौकातिक देव –Laukantika Deva.: A spacial type of heavenly deities who are supposed to get salvation definitely after crossing one birth or Bhav. पांचवे ब्रह्म स्वर्ग के अंत में रहने वाले लौकंतिक देव ;जिनके संसार या लोक का अंत निकट है वे लौकंतिक हैं ” ये देव दीक्षा कल्याणक के समय तीर्थंकर भगवान की…
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रक्ता (देवी) – रक्ता कुंड व रक्ताकूट की स्वामिनी देवी। Rakta (Devi)-Name of the female ruling deity of Raktakund & raktakuta
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निश्चय कर्ताकर्म – Nishchaya kartaakarma. A viewpoint of talking self as the doer of own pure volitions. आत्मा वास्तव में अपने शुद्ध भावों का कर्ता है एवं पुद्-गलद्रव्यके निमित्त से होने वाले भावों का कर्ता नहीं है “
दिगंतरक्षित A type of deities. लौकांतिक देवों का एक भेद इनकी संख्या 25025 है। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] शहद – Shahada. Honey, which is not edible accoerding to Jaina philosophy. मधु; एक अभक्ष्य पदार्थ “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निशिभोजन कथा – Nishibhojana Kathaa. Name of a book written by poet Bharamal. कवि भारामल (ई.1756) द्वारा हिंदी भाषा में रचित कथा “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रहोभ्याख्यान – सच्याणुव्रत का एक अतिचार स्त्री – पुरूशों की एकांत में की गयी चेश्टा को प्रकट करना। Rahobhyakhyana-Secret discloser of a couple (an infraction of true speech)
[[श्रेणी:शब्दकोष]] शर्मदा – Sharmadaa. Bliss providing one, Benevolent. सुख को देने वाले “