न्यायकुमुदचंद्रिका!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] न्यायकुमुदचंद्रिका – Nyaayakumudachandrikaa. Name of a commentry book written by Acharya Prabhachandra. आचार्य प्रभाचन्द्र (ई. 950-1020) कृत लघीस्त्रय न्याय टीका “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] न्यायकुमुदचंद्रिका – Nyaayakumudachandrikaa. Name of a commentry book written by Acharya Prabhachandra. आचार्य प्रभाचन्द्र (ई. 950-1020) कृत लघीस्त्रय न्याय टीका “
फालि Accumulated matters in some particular time. एक समय में उठाये गये समस्त द्रव्य को एक फालि कहते हैं [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] वनखंड – Vanakhand : Forest. जंगल अथवा भद्रशाल आदि वनों को भी वनखंड संज्ञा है जो कि बहुत सुन्दर बगीचे हैं “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] राध – परद्रव्य के परिहार से षुद्ध आत्मा की सिद्धि अथवा साधन राध कहलाता है।आराधना प्रसन्नता पूर्णता सिद्धि साधित आराधिन सेसिद्धि आदि राध के ही पर्यावाची नाम है। Radha-Pertaining to attainment of spiritual power
[[श्रेणी : शब्दकोष]] विमानवासी देव – Vimanavasi Deva. Celestial beings who live in Vimans of 16 heav-ens. वैमानिक देव, जो विमानों में रहते हैं और अपने को पुण्यशाली समझते हैं “
[[श्रेणी : शब्दकोष]] व्यतिक्रम – Vyatikrama. Transgression, Crossing the barriers of vows with passional longings. उल्लंघन, अतिक्रमण ” शील व्रतों का उल्लंघन या विषयों की अभिलाषा करना व्यतिक्रम कहलाता हैं “
दिग्पाल A type of guardian deities. दिक्कुमार जाति के देव लोकपाल इन्हीं देवों में से होते है। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी : शब्दकोष]] विमोह – Vimoha. Confusion, bewilderment. परस्पर सापेक्ष द्रव्यार्थिक, पर्यायार्थिक नयों के अनुसार द्रव्य, गुण, पर्याय आदि को नहीं जान पाना विमोह कहलाता है ” अथवा शाक्य – बुध्द आदि द्वारा कथित वस्तु में निश्चय करना “
[[श्रेणी : शब्दकोष]] भगवती – Bhagavati. A type of super power, Other name of Jaina – initiation. बहुरुपविधायिनी एक विघा ” जिन दीक्षा को भी भगवती दीक्षा कहते हैं “