दामनंदि!
दामनंदि Disciple of Sarvachandra and spiritual teacher of Veernandi. ई. 943-973 में सर्वचन्द्र के शिष्य और वीरनन्दि के गुरू थे। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
दामनंदि Disciple of Sarvachandra and spiritual teacher of Veernandi. ई. 943-973 में सर्वचन्द्र के शिष्य और वीरनन्दि के गुरू थे। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी: शब्दकोष]]हरितालमयी – Haritaalamayii. One of the 6 circumference of Sumeru mountain. सुमेरु पर्वत की 6 परिधियो मे प्रथम परिधि, ये 16500 योजन उॅची है।
दशांग भोग 10 types of enjoyments related to food, sleeping etc. 10 प्रकार के भोग-भजन, भोजन, शयया, सेना,यान, आसन, निधि, रत्न, नगर और नाट्य।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी: शब्दकोष]]हरि – Hari. The son of king Arya of Champapur, on the name of whom Hari Dynasty was originated. चम्पापुर के राजा आर्य और रानी मनोरमा का पुत्र। इसी राजा के नाम पर हरि वंष की उत्पत्ति हुई।
दर्शनाचरण Observance of all parts of right perception. सम्यग्दर्शन के 8 अंगों का पालन करना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी: शब्दकोष]]हंस साधु – Hammsa Saadhu. A type of false saints of Vedant philosophy. एक प्रकार के वेदांती साधु, जो दोषो से युक्त होते है, कषाय वस्त्र धारण करते है एवं दण्ड रखते है।
[[श्रेणी: शब्दकोष]] पर निमिक्तक उत्पाद :A kind of origination.उत्पाद के दो भेदों में एक भेद, परप्रत्यय उत्पाद ।
[[श्रेणी: शब्दकोष]] स्वार्थी – Svaarthii. One engrossed in self, selfish one, one of the 88 planets. आध्यात्मिक व्याख्या के अनुसार आत्महित मे संलग्न रहने वाले को स्वार्थी कहते है। क्षुद्र मनुष्य जो अपना कार्य करने मे ही तत्पर रहते है उन्हें स्वार्थी कहा गया है, जैसे मेद्य परोपकारी है और बड़वानल स्वार्थी है। 88 ग्रहो…
[[श्रेणी: शब्दकोष]]स्वाधीन सुख – Svaadhiina Sukha. Supreme bliss. स्ंसार के समस्त विषय-कषायोे की रहितता से प्राप्त सुख। यह सुख सिद्वो मे पूर्णतः प्रगट होता है।