पद्मसेन!
[[श्रेणी: शब्दकोष]] पद्मसेन:Past-birth name of Lord Vmalnath, Name of a great Acharya. विमलनाथ भगवान के पूर्वभव का नाम, भगवान महावीर निर्वाण के पश्चात् हुए आचार्यो में एक आचार्य ।
[[श्रेणी: शब्दकोष]] पद्मसेन:Past-birth name of Lord Vmalnath, Name of a great Acharya. विमलनाथ भगवान के पूर्वभव का नाम, भगवान महावीर निर्वाण के पश्चात् हुए आचार्यो में एक आचार्य ।
[[श्रेणी : शब्दकोष]] भववृक्ष – Bhavavrksa. The symbolic disposition of the mortal world in the form of a tree. संसार व्रक्ष; जहाँ प्राणी मधुविंदु के समान पञ्वेन्दिृय विषयों के क्षणिक सुख में डूबकर अनन्त संसार का बंध करता है ” ध्यानरूपी कुठार के द्वारा भाव श्रमक ही इस भव व्रक्ष का छेदन करते हैं “
एकस्थानीय A type of Karmic fruitional bondage. अनुभाग बन्ध का एक नाम।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] पद्मलेश्या : One of the six Leshyas; characteristics of virtuous persons. जो त्यागी हो, भद्र हो, उत्ततम काम करने वाला हो, बहुत भी अपराध होने पर क्षमा कर दे, साधुजनों के गुणों के पूजन में निरत हो, ये सब पदमलेश्या के लक्षण है।
[[श्रेणी : शब्दकोष]] विष्णु –Visnu. Another name of Narayan, One of the great Acharya after salvation of Lord Mahavira. त्रिखंडाधिपति नारायण को विष्णु कहते हैं, त्रिपृष्ठ, द्विपृष्ठ, स्वयंभू, पुरुषोत्तम, पुरुषसिंह, पुण्डरीक, दत्त, लक्ष्मण और क्रष्ण ये ९ विष्णु (नारायण) हैं ” महावीर निर्वाण के ६२ वर्ष बाद हुए ५ आचायों में प्रथम आचार्य, ये श्रुतकेवली…
[[श्रेणी : शब्दकोष]] प्रकृति घाति – Prakrti Ghati. A type of karmic nature causing destruction of internal virtues. कर्म प्रक्रति का एक भेद; जो अनुजीवी गुणों का घात करती हैं वह घाति कर्म प्रक्रतियां हैं “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] पद्मपुख: Name of the 15th predestined Kulkar (ethical founder). भविष्यकालीन 15 वे कुलकर का नाम ।
[[श्रेणी : शब्दकोष]] पूर्वापर – Purvapara. Antecedent and consequent. पहले और बाद का “
[[श्रेणी : शब्दकोष]] वेणुमुल –Venumula. Root of bamboo tree. बांस की जड़ ” अनंतनुबंधी माया कषाय का दृष्टांत “
दम Subduing of feelings, self control. जितेन्द्रियता , इन्द्रियों को सम्यक रूप से दमन करना। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]