दुर्ध्यान!
दुर्ध्यान Sorrowful & aggressive conception (i.e. Artta & Raudra Dhyan).आर्त और रौद्र ध्यान, ये संसार के कारण हैं।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]
दुर्ध्यान Sorrowful & aggressive conception (i.e. Artta & Raudra Dhyan).आर्त और रौद्र ध्यान, ये संसार के कारण हैं।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमृशा- भरत क्षेत्र आर्यखण्ड की एक नदी। Pramrsa- A river of Bharat kshetraaryakhand (region)
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रत्येक वनस्पति काय- प्रत्येक वनस्पति कायिक जीव द्वारा छोड़ा गया शारीर अभवा पृथक-पृथक वनस्पति जीव जैसे; खैर आदि वनस्पति। pratyeka vanaspati kaya – beings pretaining to plant life.
[[श्रेणी : शब्दकोष]] भक्त प्रतिज्ञा – Bhakta Pratijna. Gradual food renunciation (as a vow). समाधिमरण; अनुक्रम के अनुसार भोजन आदि त्याग की प्रतिज्ञा करना “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रमाण योजन- क्षेत्र का प्रमाण विषेश। PramanaYojana- An area unit
दिक्कुमार देव A type of deities having residence (Bhavanvasi). भवनवासी देवों के 10 भेदों में एक भेद। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] सहस्रार – Sahasraara. Name of the 12th heaven. 12वां स्वर्ग, यहां का इन्द्र शतार है।
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रभास (स्वर्ग)- अनुदिस स्वर्ग के श्रेणीबद्ध 4 विमानों में उŸार दिष का विमान। Prabhasa (svarga)- Name of a heavenly abode
चतुरिन्द्रिय जाति नामकर्मप्रकृति A type of Karmic nature causing four sensed beings. नामकर्म की एक प्रकृति ; जिसके उदय से जीव ४ इन्द्रिय कहा जाता है ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] प्रत्यावर्तित- प्रतिवर्तित, लौटा हुआ। pratyavartita – reverted, returned