वृष!
[[श्रेणी : शब्दकोष]] वृष – Vrsa Religion. धर्म “
[[जैन_सूक्ति_भण्डार ]] [[ श्रेणी:शब्दकोष ]] == कवि : == परेषां दूषणाज्जातु न बिभेति कवीश्वरा:। किमुलूकभयाद् धुन्वन् ध्वान्तं नोदेति भानुमान्।। —आदिपुराण : १-७५ दूसरों के भय से कविजन (विद्वान) कभी डरते नहीं हैं। क्या उल्लुओं के भय से सूर्य अंधकार का नाश करना छोड़ देता है ?
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्थिति सत्त्व स्थान – Sthiti Sattva sthaana. Existing places of karmic states.अविचल, कर्मों की स्थिति के सत्ता रुप विविध स्थान।
[[श्रेणी:शब्दकोष]] पद्मनाभ: Past-birth name of Lord Chandraprabhu, Father’s name of Chakravarti, Harishen, Another name of Ramchandraji. पूर्व धातकीखं डमें मंगलावती देश के रत्नसंचय नामक नगर कमे राजा कनकप्रभ का पुत्र, जो कि समाधिपूर्वक वैजयन्त विमान में अहमिन्द्र हुआ यह चन्द्रप्रभु भगवान के पूर्व का दूसरा भव है जिसमें उन्होंने तीर्थकर प्रकृति का बंध किया था…
[[श्रेणी : शब्दकोष]] प्रकृति परोदय – Prakrti Parodaya. Karmic nature which binds in the fruition of other Karmic nature. ऐसी कर्म प्रक्रतियां (११) जिनका पर के उदय में बंध होता हैं “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] संज्ञ – Sangya. Mind, mental power. मन ” जो भली प्रकार जानता हैं उसको संज्ञ अर्थात मन कहते हैं “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्थिति अपसरण – Sthiti Apasarana. Reduction in duration of bound Karmas.कर्मों की स्थिति का क्रम से धटना।
[[श्रेणी :शब्दकोष]] यशस्कांत– Yashsankat. Name of a deity of a summit of Manushattar mountain. मनुषोत्तर पर्वत के एक कूट का देव”