रस!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रस – रसना इन्द्रिय का विशय यह 6 प्रकार का होता है – दूध, दही, धी, तेल, गुड, षक्कर, नमक। काव्य का एक अंग ये नौ होते है। Rasa-Juice, liquid, sap, A kind of literary sentimental form of poem
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रस – रसना इन्द्रिय का विशय यह 6 प्रकार का होता है – दूध, दही, धी, तेल, गुड, षक्कर, नमक। काव्य का एक अंग ये नौ होते है। Rasa-Juice, liquid, sap, A kind of literary sentimental form of poem
उत्तरोत्तर कर्म प्रकृति Secondary karmic nature. 148 उत्तर कर्म प्रकृतियों के भी भेद-प्रभेद।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] निर्विकृति – Nirvikriti. Tasteless substance like buttermilk etc. जिस आहार को परस्पर मिलाने से विशेष स्वाद उत्पन्न होता है उसे विकृति कहते है, विकृति से रहित छाछ आदि को निर्विकृति कहते है “
आर्हन्त्य क्रिया An auspicious and sacred activity. कत्र्रन्वय की क्रियाओं में छठी क्रिया-केवलज्ञान होने पर देवों द्वारा की जाने वाली अर्हंतों की पूजा आदि।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी : शब्दकोष]] बुद्ध – Buddha. Buddha, the founder of Buddha religion, An- other name of enlightened or awakened soul. १) बौध्द धर्म के संस्थापक महात्मा बुध्द , २) शुध्द आत्मा का अपरनाम “
आयुधशाला Armoury, Arsenal. चक्रवर्ती के अस्त्र , शस्त्र इत्यादि रखने का स्थान।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी : शब्दकोष]] बीज सम्यग्दर्शन – Bija Samyagdarsana. Right perception perceptible by Bijapad. बिजपदों के द्वारा ज्ञान प्राप्त करने वाले भव्यजीव के जो दर्शनमोहनीय के असाधारण उपशम वश तत्त्वश्रध्दान होता है उसे बीज सम्यग्दर्शन कहते हैं “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] रथसेना – तीसरा सैन्य कक्ष, यह सेना अपने सेनापति के अघीन रहती है। इसमें 8 हजार हाथी होते है, एवं युद्ध के समय अष्वसेना के पीछे चलती है। Rathasena-A division of army containing chariots
[[श्रेणी : शब्दकोष]] बीजसम्यक्तवार्य – Bijasamyaktvarya. See – Bijadarsanarya. देखें – बीजदर्शनार्य “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] योगपरिवर्तन – योग सक्रान्ति प्रथम षुक्लध्यान में मन वचन काय योगो का पलटना। Yogaparivartana-Transition of all activities (related to mind speech & body) in auspicious & sacred mode