उभय प्रायश्चित!
उभय प्रायश्चित Bilateral repentance (to repent and become free from the same) . अपने अपराध की गुरु के सामने आलोचना करके गुरु की साक्षीपूर्वक अपराध से निवृत्त होना (धवला से)।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
उभय प्रायश्चित Bilateral repentance (to repent and become free from the same) . अपने अपराध की गुरु के सामने आलोचना करके गुरु की साक्षीपूर्वक अपराध से निवृत्त होना (धवला से)।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] सागार धर्मामृत – Saagaara Dharmaamrita. Name of a book written by Pandit Ashadhar. पं. आशाधर (ई. 1173-1243) द्वारा रचित संस्कृत श्लोकबद्व श्रावकाचार विषयक ग्रंथ । इसमे 8 अध्याय और 477 श्लोक है।
[[ श्रेणी:जैन_सूक्ति_भण्डार ]] [[श्रेणी:शब्दकोष ]] == दया : == दयामूलो भवेद्धर्मो दया प्राण्यनुकम्पनम्। दयाया: परिरक्षार्थं गुणा: शेषा: प्रर्कीितता:।। —आदिपुराण : ५-२७ धर्म का मूल दया है। प्राणी पर अनुकम्पा करना दया है। दया की रक्षा के लिए ही सत्य, क्षमा शेष गुण बताए गए हैं। मा हससु परं दुहियं कुणसु दयं णिच्चमेव दीणम्मि। —कुवलयमाला :…
ऊर्ध्वगच्छ Vertical variforms (in geometric regression). गुणहानि आयाम में समयों या वर्गणाओं आदि का प्रमाण।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी: शब्दकोष]]हैरण्यवत् (क्षेत्र) – Hairanyavat (Ksetra). Name of the 6th region in all the 7 regions of Jambudvip (island). जम्बूद्वीप के 7 क्षेत्रों मे छठा क्षेत्र। यहाॅ जधन्य भोगभूमि है।
[[श्रेणी:शब्दकोष]] सत्यदत्त – Satyadatta. One of the 32 principles of modesty or courtesy, Name of the main listener in the assembely of Lord Dharmnath. एक विनयवादी, विनयवादियों के 32 भेदों में एक भेद, तीर्थंकर धर्मनाथ का मुख्य श्रोता या प्रश्नकर्ता “
एक-अजीव कषाय Passion related to non soul matters. निक्षेप की अपेक्षा कषाय का एक भेद।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी: शब्दकोष]] परम ज्योति:Supreme splendor, see- Parama Advaita.ज्ञानरूपी प्रकाश, देखें- परम अद्वैत ।