संज्ञ!
[[श्रेणी:शब्दकोष]] संज्ञ – Sangya. Mind, mental power. मन ” जो भली प्रकार जानता हैं उसको संज्ञ अर्थात मन कहते हैं “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] संज्ञ – Sangya. Mind, mental power. मन ” जो भली प्रकार जानता हैं उसको संज्ञ अर्थात मन कहते हैं “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्थिति अपसरण – Sthiti Apasarana. Reduction in duration of bound Karmas.कर्मों की स्थिति का क्रम से धटना।
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्थान – Sthaana. Place, position. जगह। जिसमे संख्या अथवा जिस अवस्था विशेष मे प्रकृतियाॅ ठहरती है उसे स्थान कहते है। स्थान, स्थिति और अवस्थान तीनो एकार्थक है। अविभाग प्रितिच्छेदो का समूह वर्ग, वर्ग का समूह वर्गणा का समूह स्पर्धक, स्पर्धक का समूह गुणहानि और गुणहानि का समूह स्थान है।
द्रव्यतीर्थ Place of pilgrimages. तीर्थंकरों की कल्याणक भूमियाँ, सिद्धक्षेत्र, अतिशयक्षेत्र आदि जिनकी वंदना – अर्चना संसार से तिरने में सहायक होती है। जैसे- अयोध्या, सम्मेदशिखर, कुण्डलपुर आदि।[[श्रेणी: शब्दकोष ]] तीर्थंकरों के पंच कल्याणकों से एवं महापुरुषों के तप- त्याग से पवित्र स्थलों को द्रव्यतीर्थ कहते हैं ।इस द्रव्यतीर्थ को जैन शास्त्रों में तीन भागों में…
चेष्टा Endeavour, Gesture, Activity. किसी वस्तु के लेने व छोड़ने के लिए सक्रिय होना , प्रयत्न या प्रयास करना ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्थविर कल्प – Sthavira Kalpa. Code of conduct of Jana saint.समस्त वस्त्र आदि परिग्रह का त्याग करके दिगम्बर होना। 13 प्रकार के चारित्र व 28 मूलगुणो को धारण करना, हीन संहनन होने के कारण नगर आदि मे विहार करना, चारित्र भंग न हो ऐसे उपकरणो को रखना, षिष्यो का पालन करना यह सब हीन…
चतुर्दोष Particular four faults related to food. संयोजना , अप्रमाण , अङ्ागर और धूम आहार के ये ४ दोष होते हैं ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] सम्मत सत्य – Sammata Satya. Something unanimously accepted or approved. बहुत जनों के द्वारा माना गया जो नाम वह सम्मत सत्य है। जैसे लोक मे राजा की स्त्री को रानी कहना।
[[श्रेणी : शब्दकोष]] पृष्ठ – Prstha. The back, the rear, the hind part of anything, page. पिछला हिस्सा, कॉपी या किताब का पन्ना “