चतुर्थ-भक्त!
चतुर्थ-भक्त A kind of a particular fasting. पहले और तीसरे दिवस दिन में दो बार भोजन लेना और बीच के दिन कुछ नहीं लेना ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
चतुर्थ-भक्त A kind of a particular fasting. पहले और तीसरे दिवस दिन में दो बार भोजन लेना और बीच के दिन कुछ नहीं लेना ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी : शब्दकोष]] भावशल्य – Bhavasalya. Internal thorn (falsehood etc.). जिस कर्म के उदय से जीव के माया, मिथ्या व निदान रूप परिणाम होते हैं “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्थूल भद्र – Sthuula Bhadra. Name of a shvetambaracharya.एक श्वेताम्बराचार्य का नाम।
दीप्त ऋद्धि A type of supernatural power of increasing lustre in the body like Sun. जिस ऋद्धि के प्रभाव से सूर्य के समान शरीर की दीप्ति बढ़ती है।[[श्रेणी: शब्दकोष ]]
[[श्रेणी : शब्दकोष]] प्रकांड – Prakanda. A great & learned person, a man of vast learn-ing. उत्कृष्ट विद्वान “
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्थिति शक्ति – Sthiti Sakti. Strength of karmic binding.प्रथम आदि निषेको की सर्व की स्थिति शक्ति है।
त्रिषष्ठि शलाका पुरूष चरित्र Name of books written by Chamundraya and Shvetamdaracharya Hemchandra seperately. चामुण्डराय (ई.श. 10-11) एवं श्वेताम्बराचार्य हेमचन्द्र (ई.1088-1173) द्वारा रचित ग्रंथों का नाम। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]
छठा अणुव्रत Sixth model stage;to renounce night meal. रात्रि भोजन का त्याग करना , जैन साधुओं के ५ महाव्रतों के साथ-साथ यह छठा अणुव्रत माना गया है . इसका पालन करते हुए वे मन-वचन-काय से रात्री भोजन की अनुमोदना भी नहीं करते ।[[श्रेणी:शब्दकोष]]
[[श्रेणी:शब्दकोष]] स्थावर जीव – Sthaavara Jiva. Transmigratory state of soul (reg. immobile or static beings like earth, water, fire, air & plants).5 स्थावरोे के 4 भेदो मे एक भेद। जो जीव पहले शरीर को छोड़कर स्थावरो मे जन्म लेने के लिये जा रहा है, जब तक वह स्थावरो को अपने शरीर रुप से ग्रहण नही…
दिगाचार्य Acharyas having knowledge of all directions. सर्व दिशाओं के ज्ञाता आचार्य। [[श्रेणी: शब्दकोष ]]